शनिवार, 24 मार्च 2012

टीईटी धारको पर लाठीचार्ज शर्मनाक

चुनाव से पूर्व अखिलेश यादव ने घोषणा की थी कि उनकी सरकार बनने पर टीईटी रद्द कर देंगे। अब सपा सरकार बनने पर 2 लाख से अधिक अभ्यर्थियो को भर्ती रद्द होने का डर सता रहा है।
भर्ती प्रक्रिया को जल्दी पूरा करने, रद्द होने से रोकने और टीईटी की मेरिट के आधार पर भर्ती की माँग लेकर 55 जिलो के 20 हजार अभ्यर्थी लखनऊ पहुँचे और निर्णय लिया कि विधानसभा के सामने होते हुए झूलेलाल पार्क मे अनशन पर बैठेंगे और अखिलेश यादव से मिलेंगे। ये अभ्यर्थी दो लाइने बनाकर शान्तिपूर्वक जा रहे थे। पुलिस ने इन्हे रोका तो जाम लग गया। पुलिस ने कहा अखिलेश जी आ रहे हैं। 1घंटे तक उनके न आने पर लोगो ने आगे बढ़ने कि कोशिश की तो पुलिस ने लाठीचार्ज कर दिया, जिससे 3 लोगों का सिर फूट गया तथा 2 दर्जन से अधिक के चोटें आईं हैं। लोगो ने लाठियाँ खाकर भी किसी की सम्पत्ति को एक रुपये का भी नुक्सान नहीं पहुँचाया। सरकार इन्हे उपद्रवी बताकर मामले से पल्ला झाड़ना चाहती है। बिना अखिलेश की अनुमति के बिना कोई पुलिस अधिकारी लाठीचार्ज नही करवा सकता था। अखिलेश यादव ने लाठीचार्ज करवाकर यह साबित कर दिया कि वे युवाओं के हितैषी होने का ढोंग कर रहे हैं। वे सिर्फ भत्ता दे सकते हैं, रोजगार नही।
-जितेन्द्र कुमार जौली

गुरुवार, 15 मार्च 2012

राष्ट्रभाषा हिन्दी प्रचार समिति ने किया जितेन्द्र कुमार जौली को सम्मानित

युवा साहित्यकार 
 जितेन्द्र कुमार जौली सम्मानित
 जितेन्द्र कुमार जौली सम्मानित
                          
                              14 मार्च 2012 को राष्ट्रभाषा हिन्दी प्रचार समिति द्वारा गायत्री प्रज्ञा पीठ मुरादाबाद में कवि गोष्ठी का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का मुख्य आकर्षण रहा युवा साहित्यकार जितेन्द्र कुमार जौली का सम्मान।
                             राष्ट्रभाषा हिन्दी प्रचार समिति की ओर से जितेन्द्र जौली को पाँच सौ एक रुपये नकद, शॉल व प्रतीक चिन्ह देकर सम्मानित किया गया। संस्था के अध्यक्ष अम्बरीश गर्ग ने कहा कि साहित्य के क्षेत्र में युवाओ को बढ़चढ़कर हिस्सा लेना चाहिए। क्योंकि साहित्य ही संस्कारो को जन्म देता है इसलिए वे युवा जो साहित्य के क्षेत्र में उल्लेखनीय कार्य कर रहे हैं प्रशंसा और सम्मान के पात्र हैं। इसी भावना के चलते मुरादाबाद के युवा साहित्यकार जितेन्द्र कुमार जौली को सम्मानित किया गया है।
                             इस अवसर पर रामसिंह निःशंक, योगेन्द्रपाल सिंह विश्नोई, कृपाल सिंह धीमान, रामेश्वर प्रसाद वशिष्ठ, अशोक विश्नोई, योगेन्द्र व्योम, रामदत्त द्विवेदी, मनोज मनु, कृष्ण कुमार नाज़ आदि ने काव्यपाठ किया। योगेन्द्र सिंह, मनोज सम्राट, रमेश कृष्ण आदि लोग उपस्थित थे।